आज की दुनिया
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आज की सुबह। मेरी जिंदगी की नई सुबह। रात होती हैं तो लगता हैं हाश होगी। जब,रात गुजर जाती हैं तो सुबह होती हैं।वो सुबह कभी तो आएगी...एक अद्भुत गाना। सुबह से निकले हैं,राही रात को पहुचेंगे, देखेंगे,समजेंगे साथी,नए तरीके खोजेंगे। #राही:व्यक्ति आज सुबह मेरी अमदावाद में होंगी।मेरे सुबह सुबह ही अहमदाबाद शांत लगता हैं।सूर्योदय से पहले अगर खिड़की नहीं खुली तो कब 10 बजे व्व मालूम नहीं पड़ता।शहेर में दिन नही समय चलता हैं।रात नही होती,रात का सन्नाटा भी नहीं होता।रडे ऐसी ऑफिसमें बारिश,गर्मी या ठंडी समान हैं।यह किसी से कोई भेदभाव नहीं हैं।हाला की अमदावाद शहर का प्रत्येक व्यक्ति चलता हैं तो ही जाके शहर भागता हैं। आज का दिन मेरे कुछ खास दिनोंमें से एक हैं। अमदावाद में पहुंचने पर जैसे आज खुशी हुई। मेरी सरकार:मेरा अमदावाद #Thanks दादा दी... #Thanks सरकार... 91.1 गुडमोर्निंग अमदावाद...