हर्बल मेडिसिन और एना कुट्टी
उन का नाम एना कुटी जोसेफ हैं।
वो किसान हैं, उन के पास ढाई एकड़ जमीन हैं।
इस जमीं में से उन्होंने कुछ हिस्सा हर्बल खेती के लिए निकला हैं।इस खेत में वो भिन्न भिन्न प्रकार की वनस्पति की खेती कराती हैं। आसपास के कई गाव से उन के पास लोग सरवर के लिए आते हैं। पठारी,बुखार,जुकाम,साँस लेने में दिक्कत होना, मसा,भगंदर एवं हड्डियों की परेशानी जेसी समस्या से जुज रहे लोग उन के पास आते हैं।
सिर्फ जितना खर्च उन्हें होता है उतना ही पैसा वो लेती हैं। उन से बात चित करने में हमे दिक्कत आ रही थी क्यों की वो पढ़ी लिखी नहीं हैं, n वो हिंदी समज पाती हैं। मेरे और एना जोसेफ के बिच एन.आई.एफ के साथी क्रिश मेथ्यु ने हमारी समस्या को कम कर दिया। में सवाल करता उसे वो केरलियन भाषा में वो अनुवाद करके एना अम्मा को कहते,अम्मा जवाब देती उसे क्रिश अंग्रेजी में हमे बताते। अनेकतामे एकता यही तो हमारे देश की सच्चाई हैं। अम्मा से बात करते हुए मालूम पड़ा की उन के पिताजी भी हर्बल मेडिसिन के बड़े जानकार थे। अम्मा ने ये सब आप ने पिताजी से सिखा हैं।
उन के पास जितनी हर्बल की जानकारी है, उसे उन्हों ने एक किताब के माध्यम से छपाने का प्रयत्न किया हैं। हम आशा रखते हैं की उन की किताब जल्द से जल्द प्रकाशित हो और हर्बल मेडिसिन में उन के द्वारा किये गए प्रयोग एवं सरवर की जानकारी सभी तक पहुंचे।केरल के ट्रायबल बेल्ट में गरीब लोगो के लिए वो ये काम सेवा के रूप में पैसा लिए बगेर रही हैं। आप उन के काम को समाज ने और देखने के लिए यहा क्लिक करे।
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